Brijmohan Agarwal: संसद सत्र में भाग लेने के बाद रायपुर सांसद बृजमोहन अग्रवाल शनिवार को नई दिल्ली से रायपुर लौटे। पत्रकारों के साथ बातचीत में उन्होंने कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर अपने विचार साझा किए। उन्होंने ट्रेनों की देरी, एयरपोर्ट विस्तार, नक्सली समस्या, बस्तर जनजातीय विश्वविद्यालय सहित विभिन्न विषयों पर चर्चा की।
नक्सली समस्या पर अपनी राय व्यक्त करते हुए उन्होंने (Brijmohan Agarwal) आरोप लगाया कि कांग्रेस नक्सलियों के साथ मिली हुई है और इसके प्रमाण समय-समय पर सामने आते रहते हैं। इस अवसर पर उन्होंने ट्रेनों की देरी के मुद्दे पर चिंता व्यक्त की और एयरपोर्ट विस्तार की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने बस्तर जनजातीय विश्वविद्यालय के महत्व पर भी प्रकाश डाला।
संसद सत्र में भाग लेने के बाद अपना अनुभव किया साझा
सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने संसद सत्र में भाग लेने के बाद अपने अनुभव साझा किए। उन्होंने बताया कि विधानसभा के नेता से लेकर अब पूरे छत्तीसगढ़ की सेवा करने का अवसर मिला है। संसद में उन्होंने रायपुर एयरपोर्ट को अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट बनाने और रेलवे की समस्याओं का समाधान करने के मुद्दे उठाए।
उन्होंने कहा कि रेलवे की 22 परियोजनाएं चल रही हैं और रेलवे स्टेशनों का विकास किया जा रहा है। केंद्र सरकार ने छत्तीसगढ़ के विकास के लिए 7 हजार करोड़ रुपये दिए हैं, जो कांग्रेस के समय में पांच साल में मिलने वाले 300 करोड़ रुपये से अधिक है।
कांग्रेस नक्सलियों से मिली हुई है: बृजमोहन अग्रवाल
नक्सली समस्या पर उन्होंने कहा कि उनकी नीति स्पष्ट है और कांग्रेस के समय में जितने नक्सलियों को नहीं मारा गया, उतने से अधिक नक्सलियों को छह महीने में मार गिराया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस नक्सलियों से मिली हुई है और इसके प्रमाण समय-समय पर सामने आते रहते हैं।
सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने छत्तीसगढ़ी भाषा को आठवीं अनुसूची में शामिल करने की मांग को लेकर अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि वे सिर्फ दो महीने पहले ही सांसद बने हैं और इस मुद्दे को आगे उठाएंगे और केंद्र सरकार से इसे शामिल करने की मांग करेंगे।
33 हजार शिक्षक भर्ती के मुद्दे पर कही ये बात
इसके अलावा, उन्होंने बस्तर में जनजातीय विश्वविद्यालय खोलने के लिए केंद्रीय शिक्षा मंत्री से बात की है। उन्होंने कहा कि यह विश्वविद्यालय क्षेत्र के विकास और जनजातीय समुदाय के लिए महत्वपूर्ण होगा। 33 हजार शिक्षक भर्ती के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को अभी छह महीने ही हुए हैं और युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ नहीं होगा। उन्होंने आश्वासन दिया कि आगे भर्ती की जाएगी।