हाइलाइट्स
- बाघों के पास पहुंचने का सीधी कलेक्टर पर आरोप
- संजय टाइगर रिजर्व में प्रतिबंधित क्षेत्र में घूमने की शिकायत
- अपर प्रधान वन संरक्षक ने मंगाई जांच रिपोर्ट
Sidhi Sanjay Tiger Reserve: मध्यप्रदेश के सीधी जिले के कलेक्टर स्वरोचिष सोमवंशी पर आरोप है कि वे संजय टाइगर रिजर्व में निजी जिप्सी लेकर बाघों के पास पहुंच जाते हैं। उन पर आरोप है कि वे अपना वाहन वहां तक ले जाते हैं, जहां तक उन्हें गाड़ी ले जाने की परमिशन नहीं होती है। इस मामले की शनिवार, 22 मार्च को शिकायत के बाद अपर प्रधान वन संरक्षक (वन्य जीव) ने पार्क प्रबंधन से जांच रिपोर्ट मांगी है। हालांकि, इन आरोप पर कलेक्टर स्वरोचिष सोमवंशी क्या बोले उनका पक्ष भी पढ़वाते हैं।
RTI एक्टिविस्ट ने की एडिशनल पीसीसीएफ से शिकायत
इस मामले की शिकायत RTI एक्टिविस्ट अजय दुबे ने नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी और एमपी के वाइल्ड लाइफ पीसीसीएफ से की है। उनका कहना है कि सीधी कलेक्टर स्वरोचिष सोमवंशी द्वारा वन्य जीव अधिनियम और NTCA के दिशा-निर्देशों का गंभीर उल्लंघन किया जा रहा है।
यह आरोप भी लगाए
दुबे ने कहा कि कलेक्टर सोमवंशी नियमित रूप से हर सप्ताह दोस्तों के साथ रिजर्व का दौरा करते हैं और पर्यटकों के साथ दुर्व्यवहार करते हुए नियमों का खुलेआम उल्लंघन करते हैं। इसके अलावा वह वन अधिकारियों पर भी दबाव बना रहे हैं। जिस जिप्सी से कलेक्टर सोमवंशी आते जाते हैं उसका नंबर एमपी 54 जेडए-3935 बताया जा रहा है।
एक्टिविस्ट ने कहा-हर बुधवार को करते हैं दौरा
अजय दुबे के अनुसार यह अधिकारी हर बुधवार दोपहर को सफारी पर जाते हैं, क्योंकि उस समय टाइगर रिजर्व नियमित पर्यटकों के लिए बंद रहता है। उनकी गाड़ी देर रात तक प्रतिबंधित मुख्य क्षेत्र में रहती है और वह बाघों के बेहद करीब पहुंच जाते हैं। दुबे ने इसकी जांच करने और कानून के अनुसार आरोपियों के खिलाफ उचित कार्रवाई करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि इस अधिकारी की गतिविधियों को सीधी से दुबरी, संजय टाइगर तक सड़क पर लगे सीसीटीवी कैमरों से सत्यापित किया जा सकता है।
शिकायत में इस बात का भी जिक्र
अजय दुबे के अनुसार टाइगर रिजर्व एरिया में सिर्फ वही वाहन जा सकते हैं जो वहां जाने के लिए रजिस्टर्ड हैं। जिसमें कलेक्टर बैठे बताए जा रहे हैं वह निजी वाहन है।
नियमों के मुताबिक ड्राइवर भी वहीं का होना चाहिए, लेकिन कलेक्टर सोमवंशी खुद गाड़ी चला रहे हैं।
तय मार्ग से नीचे गाड़ी नहीं ले जा सकते और कलेक्टर की गाड़ी सड़क से नीचे बाघ के काफी पास तक है।
बाघ के पास तक गाड़ी ले जाना भी वन्य जीव उल्लंघन के दायरे में आता है और उन पर ऐसे आरोप हैं।
शिकायत आई है, प्रबंधन से रिपोर्ट मांगी है
अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य-जीव) एल. कृष्णमूर्ति ने कहा कि मेरे पास शिकायत आई है। संजय टाइगर रिजर्व के प्रबंधन से इसकी रिपोर्ट मांगी है। अगर कलेक्टर गैर रजिस्टर्ड वाहन से वहां जाते हैं तो वन्य जीव अधिनियम उल्लंघन का केस बनता है। रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई के बारे में फैसला किया जाएगा।
आरोपों पर कलेक्टर ने क्या कहा ?
आरटीआई एक्टिविस्ट के आरोपों का कलेक्टर स्वरोचिष सोमवंशी ने सिरे से खंडन किया है। उन्होंने कहा कि सीसीटीवी में दिखाई गई गाड़ी कहां जा रही है और कहां की है, यह स्पष्ट नहीं है। दूसरे, मुझे गाड़ी चलाना नहीं आता, मेरे पास ड्राइविंग लाइसेंस भी नहीं है, मैं साइकिल चलाता हूं। गलत आरोप लगाए गए हैं। जिस भी व्यक्ति ने वीडियो बनाया, वह मूल शिकायतकर्ता कौन है? यह साफ होना चाहिए जो वीडियो वायरल किया गया है क्या उसमें मेरी पहचान दिखती है कि वह मैं ही हूं?
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