हाइलाइट्स
- पाकिस्तान में एक बार फिर बड़ा आतंकी हमला
- बलूचिस्तान के नोश्की इलाके में सुरक्षाबलों के एक काफिले पर हमला
- हमले में करीब 90 सैनिक मारे जाने का दावा
Attack on Pakistan Army: पाकिस्तान में एक बार फिर बड़ा आतंकी हमला हुआ है। इस बार बलूच आतंकवादियों ने पाकिस्तानी सेना (Attack on Pakistan Army) को निशाना बनाया है। यह हमला भारत में हुए पुलवामा हमले से काफी मिलता-जुलता प्रतीत हो रहा है। बलूचिस्तान के नोश्की इलाके में सुरक्षाबलों के एक काफिले पर हमला किया गया, जिसमें 8 बसें और दो कारें शामिल थीं। पाकिस्तानी अधिकारियों के अनुसार, इस हमले में 5 सैनिकों की मौत हो गई है और 13 अन्य घायल हो गए हैं। हालांकि, बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (BLA) ने इस हमले की जिम्मेदारी लेते हुए दावा किया है कि इस हमले में करीब 90 सैनिक मारे गए हैं।
#BREAKING: 12 Pak soldiers killed and over 26 injured as Pakistani FC forces bus comes under attack followed by heavy gunfire in the Rakshani Mill area of Regional Corporate Development N-40 highway in Noshki, Balochistan. Ambulances and choppers were seen rushing to the spot. pic.twitter.com/ZOqsh1PFzG
— Aditya Raj Kaul (@AdityaRajKaul) March 16, 2025
एक पाकिस्तानी अधिकारी ने बताया कि एक बस को व्हीकल बॉर्न IED (इंप्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस) से निशाना बनाया गया, जो संभवतः एक आत्मघाती हमला (Attack on Pakistan Army) था। वहीं, दूसरी बस को क्वेटा से ताफ्तान जाते समय रॉकेट से संचालित ग्रेनेड से निशाना बनाया गया। हमले में घायल हुए सैनिकों को इलाज के लिए नोश्की और एफसी कैंप ले जाया गया है। नोश्की के SHO सुमालानी ने आशंका जताई कि मृतकों और घायलों की संख्या बढ़ सकती है, क्योंकि कई घायलों की हालत गंभीर बताई जा रही है।
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BLA का दावा
बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी (BLA) ने इस हमले (Attack on Pakistan Army) की जिम्मेदारी लेते हुए दावा किया है कि उनके हमले में करीब 90 पाकिस्तानी सैनिक मारे गए हैं। BLA बलूचिस्तान में सक्रिय एक आतंकी संगठन है, जो पाकिस्तानी सरकार के खिलाफ लंबे समय से संघर्ष कर रहा है। यह संगठन बलूचिस्तान की स्वतंत्रता की मांग करता है और पाकिस्तानी सुरक्षा बलों को निशाना बनाता रहता है।
पुलवामा हमले से मिलता-जुलता है मामला
यह हमला भारत के पुलवामा हमले (Attack on Pakistan Army) से काफी मिलता-जुलता है, जहां फरवरी 2019 में जैश-ए-मोहम्मद आतंकियों ने सीआरपीएफ के काफिले पर हमला किया था। उस हमले में 40 जवान शहीद हो गए थे। इसी तरह, नोश्की हमले में भी सुरक्षाबलों के काफिले को निशाना बनाया गया है, जिससे पाकिस्तानी सुरक्षा तंत्र की कमजोरियां एक बार फिर उजागर हुई हैं।
इस हमले (Attack on Pakistan Army) ने एक बार फिर पाकिस्तान में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर सवाल खड़े कर दिए हैं। बलूचिस्तान में आतंकी गतिविधियां लगातार जारी हैं, और इस हमले से स्पष्ट है कि पाकिस्तानी सरकार को इस क्षेत्र में सुरक्षा चुनौतियों से निपटने के लिए और मजबूत कदम उठाने की आवश्यकता है।