Telecom Rules 2024: भारत सरकार ने साइबर अपराध और धोखाधड़ी को रोकने के लिए डिजिटल सुरक्षा बढ़ाने के लिए कदम उठाए हैं। संचार मंत्रालय और दूरसंचार विभाग (DoT) ने 21 नवंबर, 2024 को साइबर सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए नए दिशानिर्देश जारी किए।
सरकार के साथ डिटेल शेयर करना अनिवार्य
सरकार अब राष्ट्रीय या जनहित के मामलों में टेलीकॉम कंपनियों से अहम जानकारियां मांग सकती है। इसमें एक निर्धारित फोर्मेट में मैसेज कॉन्टेंट और अन्य जानकारी देना शामिल है। नए नियमों के तहत, टेलीकॉम कंपनियों को किसी भी ऐसी घटना की रिपोर्ट करना आवश्यक है जो साइबर सिक्योरिटी के लिए खतरा पैदा कर सकती है।
- साइबर सिक्योरिटी उल्लंघनों के खिलाफ सख्त कार्रवाई; कोई और संदेश अग्रेषित नहीं किया जाएगा
- फर्जी संदेशों को फॉरवर्ड करना अब साइबर अपराध की श्रेणी में रखा गया है। नए नियमों की मुख्य बातें इस प्रकार हैं.
- सभी टेलीकॉम कंपनियों को एक चीफ टेलीकॉम सिक्योरिटी ऑफिसर (सीटीएसओ) नियुक्त करना होगा।
- कंपनियों को साइबर फ्रॉड रोकने के उपाय लागू करने चाहिए और इन उपायों को सरकार के साथ शेयर करना होगा
- नए नियमों के मुताबिक, किसी साइबर घटना की जानकारी मिलने के छह घंटे के अंदर तुरंत कार्रवाई करनी होगी, जिसके लिए संबंधित सिक्योरिटी एजेंसियों को डीटेल देनी होगी।
टेलीकॉम इंडस्ट्री के लिए नई नोटिफिकेशन
- टेलीकॉम कंपनियों को 24 घंटे के अंदर डीटेल रिपोर्ट देनी होगी, जिसमें नंबर, शामिल व्यक्ति और उचित डेटा शामिल होगा।
- IMEI नंबर का रजिस्ट्रेशन अब अनिवार्य है और IMEI नंबर में बदलाव को दंडनीय अपराध घोषित किया गया है।
- सभी टेलीकॉम संगठनों और टेलीकॉम डिवाईस के मैन्युफैक्चरर को विशेष पोर्टल या सुरक्षित मोड के माध्यम से केंद्र सरकार को रिपोर्ट करने या जानकारी प्रदान करने के दायित्वों का पालन करना
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