हाइलाइट्स
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पुणे में जीका वायरस से मचा हड़कंप
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जीका वायरस के आए 6 केस
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2 गर्भवती महिलाएं हुईं संक्रमण का शिकार
Zika virus: महाराष्ट्र के पुणे में जीका वायरस से हड़कंप मच गया है। जीका वायरस के अब तक 6 मामले सामने आ चुके हैं। इनसें 2 गर्भवती महिलाएं शामिल हैं।
जानकारी के मुताबिक एरंडवाने इलाके की 28 साल की गर्भवती महिला में शुक्रवार को जीका वायरस का संक्रमण पाया गया। इसके बाद सोमवार को 12 हफ्ते की एक गर्भवती महिला में भी इस वायरस का संक्रमण पाया गया। हालांकि, दोनों महिलाओं के स्वास्थ्य में फिलहाल सुधार है।
क्या होता है जीका वायरस?
जीका वायरस एडीज मच्छरों के काटने से होता है। इसमें ऑर्गेनिज्म हमारी कोशिकाओं का इस्तेमाल करके अपनी ढेर सारी कॉपीज बना लेता है। ऐसा कहा जाता है कि जीका वायरस से संक्रमित 5 मरीजों में से एक मरीज में इसका कोई लक्षण नहीं दिखता है। वहीं, इस बीमारी के लक्षण 2-14 दिनों के बीच दिखते हैं।
जीका वायरस का गर्भवती महिलाओं पर असर
यदि गर्भवती महिला को जीका वायरस हो जाता है, तो होने वाले बच्चे पर बहुत असर पड़ सकता है। बता दें कि गर्भवती महिलाओं में जीका वायरस के कारण भ्रूण में माइक्रोसेफेली (ऐसी स्थिति जिसमें असामान्य मस्तिष्क विकास के कारण सिर काफी छोटा हो जाता है) हो सकता है।
जीका वायरस के लक्षण
एडीज मच्छर डेंगू, चिकनगुनिया और पीला बुखार भी फैलाता है। जीका वायरस में हल्का बुखार, सिर दर्द, मांसपेशियों में दर्द, पलक के नीचे सूजन समेत जोड़ों में दर्द रहता है।
वायरस से बचने के उपाय
जीका वायरस के इलाज के लिए कोई खास इलाज नहीं हैं। हालांकि, इस वायरस के दौरान बुखार और सिर दर्द होता है, जिससे जुड़ीं दवाएं खाकर इस वायरस को कम किया जा सकता है।
जीका वायरस का पहला केस
एडीज मच्छर से होने वाले जीका वायरस की सबसे पहले साल 1947 में पहचान हुई थी। ये वायरस सबसे पहले युगांडा में रीसस मैकाक बंदर में पाया गया था। इसके बाद 1950 के दशक में अन्य अफ्रीकी देशों में मनुष्यों में इसके संक्रमण और बीमारी के प्रमाण मिले।
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