हाइलाइट्स
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विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने आरोप पत्र में शामिल किया था मुद्दा
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एफआईआर में भाई-भतीजों को बड़े पदों पर चयन करने का आरोप
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हाईकोर्ट में याचिका के बाद 13 नियुक्तियों पर लगाई रोक
रायपुर। CGPSC: छत्तीसगढ़ में CGPSC भर्ती घोटाला विधानसभा चुनाव 2023 में सबसे ज्यादा चर्चित रहा। इसी मामले की जांच और दोषियों की कार्रवाई के लिए विधानसभा चुनाव में
बीजेपी ने वादा किया था। इसी घोटाले को लेकर मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने अपने X हैंडल पर इसकी जानकारी दी है।
रायपुर में CG-PSC भर्ती गड़बडी मामले में हुई FIR, सीएम विष्णुदेव साय ने कहा मामले की जांच होगी | CG News
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उन्होंने इस संबंध में कहा कि CGPSC भर्ती घोटाले के जो भी दोषी हैं, उन पर कार्रवाई की जाएगी। ईओडब्ल्यू ने इस मामले में एफआईआर दर्ज कर ली है।
इसकी जांच CBI को भी जांच सौंपी गई है।
आज CGPSC महाघोटाले के आरोपी पूर्व अधिकारियों एवं नेताओं पर EOW ने FIR दर्ज कर दी है।
इस महाघोटाले में अपने भविष्य की बलि देने वाले मेरे सभी बच्चों को आश्वस्त करता हूँ कि आपके साथ हुए अन्याय का हिसाब होगा।
गुनहगार बचेंगे नहीं, हम आपकी प्रतिभा का सौदा करने वालों को उनके अंजाम तक…
— Vishnu Deo Sai (@vishnudsai) February 7, 2024
आयोग के पूर्व चेयरमैन पर भी FIR
बता दें कि छत्तीसगढ़ (CGPSC) लोक सेवा आयोग के पूर्व चेयरमैन टामन सोनवानी, पूर्व सचिव जीवन किशोर ध्रुव, परीक्षा नियंत्रक समेत अन्य अधिकारियों और नेताओं पर भी एफआईआर दर्ज की गई है।
बता दें यह एफआईआर ईओडब्ल्यू ने एक दिन पहले ही की है। इन सभी पर आरोप है कि इनके पद पर रहते हुए इन्होंने भाई-भतीजों का बड़े पदों पर चयन कराया है।
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छत्तीसगढ़ में बना था चुनावी मुद्दा
पिछली कांग्रेस की भूपेश बघेल सरकार में यह घोटाला हुआ था। इसको लेकर विधानसभा चुनाव 2023 में बीजेपी ने कांग्रेस पर कई तरह के आरोप लगाए थे।
बीजेपी का आरोप था कि इस (CGPSC) भर्ती में भाई-भतीजों को ही प्रमुख पदों पर चयनित किया गया है, जबकि जो योग्य अभ्यर्थी थे उनको मौका नहीं मिला।
इस मुद्दे ने चुनाव के दौरान कांग्रेस को जमकर परेशान किया और वे इसको लेकर जांच का आश्वासन देते रहे।
आरोप पत्र में किया था शामिल
बीजेपी ने विधानसभा चुनाव में (CGPSC) सीजीपीएससी घोटाले को लेकर बड़ा मुद्दा बनाया था। साथ ही इसे बीजेपी ने अपने आरोप पत्र में भी शामिल किया और वादा किया था
कि हमारी सरकार आएगी तो बड़ी कार्रवाई होगी। बता दें कि चुनाव के दौरान केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने भाजपा का आरोप पत्र जारी किया था।
जिसमें पीएससी का मामला प्रमुख था।
याचिका के साथ हाईकोट में दी लिस्ट
(CGPSC) पीएससी मामले में छत्तीसगढ़ के पूर्व गृहमंत्री व रामपुर से विधायक रहे ननकीराम कंवर ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी।
इसमें पीएससी में सिलेक्ट अफसरों के रिश्तेदारों की लिस्ट दी है। यह मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा। बता दें कि सीजीपीएससी की 2021-22 की सिलेक्शन लिस्ट विवादों में घिरी है।
हाईकोर्ट ने जनहित याचिका दायर होने के बाद 13 नियुक्तियों पर रोक लगा दी है। बता दें कि 171 पदों के लिए भर्ती परीक्षा आयोजित की गई थी।