तिरुवनंतपुरम। Ship-to-Shore Crane ‘शिप-टू-क्रेन’ लेकर आ रहा दूसरा चीनी जहाज यहां नौ नवंबर को विझिंजम में अंतरराष्ट्रीय गहरे समुद्री केंद्र पर पहुंचेगा। बंदरगाह के सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। मालवाहक जहाजों से इंटरमॉडल कंटेनरों की लदान और उतारने के लिए इस तरह के ‘शिप-टू-शोर क्रेन’ कंटेनर टर्मिनलों पर रखे जाते हैं।
गहरे समुद्र केंद्र में पहुंचने की उम्मीद
सूत्रों ने कहा कि जहाज ‘जेन हुआ 29’ विझिंजम बंदरगाह के लिए एक ‘शिप-टू-शोर क्रेन’ और मुंद्रा बंदरगाह के लिए कई यार्ड क्रेन ले जाएगा। जहाज के बृहस्पतिवार सुबह करीब आठ बजे गहरे गहरे समुद्री केंद्र पर पहुंचने की उम्मीद है।
सूत्रों ने बताया कि जहाज से किनारे तक क्रेन उतारने के बाद जहाज गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह के लिए रवाना होगा। बंदरगाह पर पहुंचने वाला पहला जहाज ‘जेन हुआ 15’ था और यह गहरे समुद्री केंद्र के लिए दो यार्ड क्रेन और एक ‘शिप-टू-शोर क्रेन’ ले गया था। जहाज के निर्माण पर सात हजार करोड़ रुपये की लागत आई है।
सभी तीन क्रेनों को उतारा सफलतापूर्वक
सूत्रों ने कहा कि सभी तीन क्रेनों को सफलतापूर्वक उतार दिया गया और स्थापित कर दिया गया। विझिंजम बंदरगाह का निर्माण सार्वजनिक-निजी भागीदारी मॉडल के तहत किया जा रहा है। अडाणी समूह इसके विकास में निजी भागीदार है, जो चालू होने के बाद दुनिया के सबसे बड़े बंदरगाहों में से एक बन जाएगा।
परियोजना 2019 में शुरू होने वाली थी लेकिन भूमि अधिग्रहण के मुद्दों के कारण इसमें देरी हुई। मछुआरों ने इसका विरोध करते हुए हिंसक विरोध प्रदर्शन किया और आरोप लगाया कि बंदरगाह उनकी आजीविका पर प्रतिकूल प्रभाव डालेगा।
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