Rewa Murder : रीवा में मन्नत पूरी पूरा करने के लिए आरोपी व्यक्ति ने एक चरवाहे को पकड़कर उसकी बलि दे दी।बंसल न्यूज़ ने इसके मनोवैज्ञानिक पहलू को समझने के लिए मनोचिकित्सक से चर्चा की।
क्या है इसका मनोवैज्ञानिक एंगल
प्रतिष्ठित मनोचिकित्सक डॉ सत्यकांत त्रिवेदी (Psychiatrist Dr Satyakant Trivedi) कहते हैं कि बलि की पीछे बहुत से फैक्टर्स होते हैं। अधिकांश मामलों में लोग अंधविश्वास और लालच के कारण दूसरे की हत्या कर देते हैं। कुछ एक में मेंटल डिसऑर्डर भी कारण बन सकता है।
क्या कोई ऐसा करेगा हम इसका अनुमान लगा सकते हैं?
डॉ. सत्यकांत त्रिवेदी (Psychiatrist Dr Satyakant Trivedi) के अनुसार कई डिल्यूजनल डिसऑर्डर और शेयर्ड सायकोटिक डिसऑर्डर के कारण ऐसा हो सकता है है।इन डिसऑर्डर में व्यक्ति में किसी एक बात को लेकर उसकी धारणा अलग होती है। इस मामले में वह पूरी तरह से अपनी द्वारा रचित कल्पनाओं पर विश्वास करता है। शेयर्ड सायकोटिक डिसऑर्डर में पीड़ित व्यक्ति के संपर्क में आने वाले लोग भी उससे प्रभावित हो जाते हैं और दूसरे की डेलूशनल बातों पर यकीन करने लगते हैं।
कई बार किसी परम्परा के चलते कल्पनाओं पर यकीन कर लेते हैं और वे बलि जैसे गंभीर अपराधों को अंजाम देते हैं। अंधविश्वास और जादू टोने में विश्वास करने वाले लोग अपनी अलग कल्पनाओं में खोए रहते हैं। वे भी इस तरह की घटनाओं में शामिल हो जाते हैं। लेकिन हम किसी व्यक्ति के अपराध करने को प्रेडिक्ट नहीं कर सकते।
नोट :- बंसल न्यूज़ आपसे ये विनम्र अपील करता है कि आप लोग ऐसे अंधविश्वास से बचें और अपने जान पहचान के लोगों लोगों को भी ऐसे अंधविश्वास के प्रति जागरूक करें।