भोपाल। मध्य प्रदेश सरकार नए साल में 80 करोड़ की लागत से एक नया जेट प्लेन खरीदने जा रही है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इसके लिए अगामी बजट सत्र में राशि का प्रावधान किया जाएगा। गौरतलब है कि शिवराज सरकार फिलहाल किराए के प्लेन से सफर कर रही है। जिसपर पिछले 7 महीने में 13 करोड़ रूपए खर्च किए जा चुके हैं। ऐसे में सरकार जल्द ही एक नए टर्बो जेट प्लेन को खरीद सकती है।
क्रैश हो गया था प्लेन
मालूम हो कि राज्य सरकार द्वारा खरीदा गया D 250 प्लेन 7 मई 2021 को ग्वालियर रनवे पर क्रैश हो गया था, जिसके बाद सरकार ने किराए पर प्लेन लिया था। लेकिन अब नए साल में नया जेट प्लेन लिया जा रहा है। इस प्लेन के अप्रैल में आने की उम्मीद है। बता दें कि किराए के प्लेन में सर्विसिंग पर एक करोड़ रूपये का खर्च आता है। वहीं खुद के प्लेन पर 50 लाख रूपए का सर्विसिंग खर्च आता है। आइए जानते हैं क्या है नए टर्बो जेट प्लेन की खासियत…
प्लेन के लिए रेलवे की लंबाई को बढ़ाया जाएगा
जानकारी के अनुसार नए टर्बो जेट प्लेन के लिए प्रदेश में फिलहाल 5 हवाईपट्टियां ही उप्युक्त हैं। भोपाल, इंदौर, ग्वालियर, जबलपुर और खजुराहो। ऐसे में बाकी हवाईपट्टियों को भी नए जेट प्लने के लिए तैयार किया जा सकता है। बतादें कि टर्बो जेट के उतरने के लिए 6 हजार फीट की हवाई पट्टी होनी जरूरी है। लेकिन प्रदेश के 27 हवाई पट्टियां इन मानकों पर नहीं बनी है। ऐसे में इनके रन-वे को बढ़ाया जा सकता है।
टर्बो जेट की खासियत
टर्बो जेट प्लेन साउंड प्रूफ होने के साथ-साथ यह बिना रूके दो हजार मील की उड़ान भर सकता है। 20 सीटर वाले इस विमान में मीटिंग के लिए बेहतर व्यवस्था होगी। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार प्लेन 600 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से उड़ सकेगा। प्लेन में एग्जीक्यूटिव सीटें लगी है। साथ ही बैठक के लिए डीलक्स कमरा और अत्याधुनिक शौचालय भी होगा। प्लेन में सेटेलाइट टीवी सेट भी रहेगा।
कांग्रेस ने इस प्लेन को खरीदने से इंकार कर दिया था
बतादें कि शिवराज सरकार काफी पहले ही इस विमान को खरीदना चाहती थी। लेकिन इसी बीच 2018 में कांग्रेस सत्ता में आ गई और कमलनाथ ने मुख्यमंत्री बनने के बाद विमान को अधिक महंगा बताते हुए 61 करोड़ रूपए में एयर किंग बी 200 खरीदने का फैसला किया। किंग बी विमान बेड़े में भी शामिल हो गया था, लेकिन कोरोना की दूसरी लहर में रेमडेसिवर इंजेक्शन लाते वक्त यह विमान दुघर्टनाग्रस्त हो गया। दुघर्टना के बाद विमान को विमानन विभाग ने उड़ान भरने लायक नही माना और रिपोर्ट में कहा गया कि ये अब उड़ान नहीं भर सकेगा।
सरकार को लगी थी फटकार
इंजीनियरों ने भी इसे अनुपयोगी करार दिया, सबसे चौकानें वाली बात ये है कि इस विमान का बीमा तक नहीं कराया गया था, एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट ब्यूरो ने एविएशन विभाग के कमिश्नर विजय दत्ता को चेतवानी दी और दो पायलट सैयद माजिद और को पायलट शिव जायसवाल का लाइसेंस 1 साल के लिए निलंबित कर दिया। आपको बता दें कि जांच में सरकार को फटकार भी लगी थी। सरकार से पूछा गया कि यात्री के लिए बने विमान को मालवाहक क्यों बनाया गया और अगर कोई आपात स्थिति थी तो उसमें इंजेक्शन ले जाने की अनुमति क्यों नहीं ली गई।