Image sorce- @io_152
भोपाल। एमपी अजब है सबसे गजब है। यहां कई ऐसी परंपराएं हैं जो प्रदेश को अजब-गजब बनाती है। एक ऐसी ही परंपरा है दहेज में सांप देने की। आज तक आपने दहेज में लाखों रूप, गहने और गाड़ी आदि देने के बारे में जरूर सुना होगा। लेकिन यह मप्र है साहब यहां सबकुछ अजब-गजब है। यहां निवास करने वाले गौरेया समाज के लोग अपनी बेटी को दहेज में सांप देते हैं।
पिता को ढूंढ़ना पड़ता है सांप
सांप भी ऐसा-वैसा नहीं। सीधे जहरीला, जो एक बार किसी इंसान को काट ले तो उसकी मौत तक हो सकती है। लेकिन परंपरा ऐसी है कि एक पिता को बेटी के दहेज में जहरीले सांप देने ही पड़ते हैं। दरअसल, गौरेया समुदाय में जब भी किसी लड़की की शादी होती है तो उसे दहेज में 21 जहरीले सांप दिए जाते है। ये सांप भी विशेष प्रजाति के होते हैं। बेहद ही जहरीले गहुआ और डोमी सांप। इन सांपो को दहेज में देने से पहले पिता को ही उसे खोजना पड़ता हैं। इसके लिए पिता कई महीनों पहले से ही सांप ढूंढ़ने में लग जाता है।
बिना सांप के लड़की नहीं होती विदा
माना जाता है कि अगर किसी लड़के के दहेज में 21 जहरीले सांप नहीं दिए गए तो उसकी शादी भी टूट सकती है। साथ ही कोई अप्रिय घटना भी घट सकती है। इस कारण से कोई भी पिता ये नहीं चाहता कि उसकी बेटी बिना 21 सांपों के ससुराल जाए। हालांकि जानकारों का मानना है कि यह बस अफवाह है कि सांप नहीं देने पर कोई अप्रिय घटना घटती है। गौरेया समुदाय में सांप इसलिए दिए जाते है ताकि वो इनकी मदद से अपना जीवन यापन कर सकें।
गौरेया समाज पेशे से सांप पकड़ने का काम करता है
बतादें कि गौरेया समाज पेशे से सांप पकड़ने का काम करता है और वह सांप का खेल दिखाकर ही अपना गुजर-बसर करते हैं। इस कारण से ही पिता अपनी बेटी को दहेज में 21 सांप देता है। ताकि शादी के बाद उसे जीवन यापन करने में कोई दिक्कत ना हो। हालांकि वनविभाग इस समुदाय को समय-समय पर जागरूक करते रहता है कि ऐसा करना कानून अपराध भी है और खतरनाक भी।
संवरा समुदाय भी करता है ये काम
वहीं छत्तीसगढ़ के कोरबा में भी संवरा समुदाय के लोग अपने बेटियों को शादी में सांप देते हैं। यह समुदाय भी वर्षों से सांप पकड़ने का काम करते रहा है। यहां भी पिता अपने बेटियों को दहेज में सांप देते हैं ताकि वो इसका खेल दिखाकर अपना गुजर-बसर कर सकें।