भोपाल। प्रदेश में कोरोना महामारी के चलते निजी स्कूलों पर आर्थिक रूप से गंभीर मार पड़ी है। वहीं इसके बाद से निजी स्कूलों ने मनमाने तरीकों से फीस में बढ़ोत्तरी की थी। हालांकि निजी स्कूलों द्वारा बसूली जा रही मनमानी फीस को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने आदेश जारी किया है। अब निजी स्कूलों को फीस की डिटेल्स सार्वजनिक करनी होगी। इसको लेकर कोर्ट ने निजी स्कूलों को 3 सितंबर तक का समय दिया है। कोर्ट के आदेशों के अनुसार 15 दिन यानी दो हफ्ते के भीतर स्कूल शिक्षा विभाग को निजी स्कूलों से स्कूल फीस की जानकारी लेकर सार्वजनिक करनी होगी। जिसमें स्कूल संचालकों को बताना होगा कि कोरोना काल के दौरान पहली से लेकर कक्षा बारहवीं तक के छात्र-छात्राओं से कितनी और किस-किस मद में कितनी फीस अभिभावकों से बसूली है। स्कूल, खेलकूद, वार्षिक कार्यक्रम, लाइब्रेरी और सांस्कृतिक एक्टिविटी समेत अन्य तरह की फीस को डिटेल्स को शिक्षा विभाग को सौंपना होगा। इसके बाद शिक्षा विभाग यह डिटेल्स जारी करेगा। बता दें कि कोरोना महामारी के बाद से लगातार निजी स्कूल बंद हैं और छात्रों की ऑनलाइन क्लासेस जारी हैं। कोरोना काल में भी निजी स्कूलों द्वारा मनमानी फीस बसूली जा रही थी।
1 सितंबर से खुल सकते हैं स्कूल
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बीते दिनों सीएम हाउस में स्कूल शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार) राज्यमंत्री इंदर सिंह परमार एवं विभागीय अधिकारी के साथ बैठक की थी। बैठक में सीएम शिवराज ने कहा था कि प्रदेश के समस्त शासकीय और अशासकीय विद्यालयों में आगामी 1 सितंबर से कक्षा 6 से 12 तक 50% विद्यार्थियों की उपस्थिति में कक्षाओं को प्रारंभ किया जाएगा। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में कक्षाओं के संचालन प्रारंभ करने के संबंध में बैठक संपन्न हुई। कक्षाओं के संचालन के दौरान अभिभावकों की सहमति और कोविड 19 की गाइडलाइन का पालन करना अनिवार्य किया गया है। बैठक में स्कूल शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार) राज्यमंत्री इंदर सिंह परमार एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे। कक्षा 1 से 5 तक की कक्षाओं के बारे में सितंबर माह के प्रथम सप्ताह के पश्चात निर्णय लिया जाएगा।