नई दिल्ली। आपने कई बार सुना होगा कि लेफ्ट हेंडर्स बहुत लकी होते हैं। इनका दिमाग राइट हैंडर्स वालों से अलग होता है। पर क्या ये सच है। आइए हम जानने की कोशिश करते हैं। आज हम आपको बताते हैं।
लेफ्ट हैंड का उपयोग करने वालों पर एक रिसर्च हुई है। जिसमें कई बातें सामने आई हैं। एक आंकड़े के मुताबिक दुनिया में करीब 10 प्रतिशत लोग लेफ्ट हैंड का उपयोग अपने दैनिक कार्यों और लिखने-पढ़ने के लिए करते हैं।
लेफ्ट हैंड को लेकर कई शोध भी हुए हैं जिसमें इस बात पर शोध की गई है कि इनका दिमाग कैसे काम करता है। आइए विशेषज्ञ से जानते हैं कि लेफ्ट हैंडर्स का दिमाग क्या वाकई राइट हैंडर्स वालों से बेहतर होता है या हकीकत कुछ और है।
मनोचिकित्सा जगत में इस पर कई शोध हुए हैं।
वो बताते हैं कि हमारे दिमाग के दो हेमेस्फेयर होते हैं। जिससे हमारी एक्टिविटी संचालित होती है। जिन लोगों का मोटॉर एरिया लेफ्ट हेमेस्फेयर से संचालित होता है। उनका दाहिना हिस्सा ज्यादा एक्टिव होता है। वहीं जिन लोगों का राइट मोटॉर एक्टिव होता है वो लेफ्ट पार्ट से एक्टिव होते हैं। बायें हाथ से काम करने वालों के बारे में ऐसा ही माना जाता है कि उनका राइट एरिया एक्टिव होता है।
ये हस्तियां करती हैं लेफ्ट हेंड का उपयोग
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, जॉर्ज डब्ल्यू बुश, युवराज सिंह, सचिन तेंदुलकर, सुरेश रैना समेत खेल और सिनेमा जगत की कई हस्तियां हैं जो लेफ्ट हैंड से लिखती हैं।
क्या कहते है शोध
लेफ्ट हैंडर्स राइट हैंडर्स से ज्यादा कलात्मक होते हैं। इनमें म्यूजिक और आर्ट का सेंस अच्छा होता है। इसके विपरीत दूसरे शोधों ने ऐसी सभी स्टडी को बाद में नकार भी दिया है। ताजा शोध में अब ऐसा माना जाता है कि लेफ्ट हैंडर्स भी राइट हैंड वालों की तरह ही सामान्य होते हैं। ऐसे कोई भी तथ्य इस बात का समर्थन नहीं करते कि उनके दिमाग राइट वालों से अलग होते हैं।
— एक शोध के मुताबिक लेफ्ट हैंडर्स की बोलने की कला राइट हैंडर्स से होती है। परंतु इसे भी बाद में डिसएप्रूव कर दिया। कुछ चीजों में जैसे कि लेखन और खेल जगत के क्षेत्रों में ऐसे लोग का प्रदर्शन काफी अच्छा होता हैं।
— एक स्टडी में पाया गया कि 95 प्रतिशत राइट हैंडेड का दिमाग लेफ्ट होमोस्फेयर से कंट्रोल होता है। ऐसा माना जाता है कि मस्तिष्क का यह हिस्सा मुख्य रूप से भाषा और भाषण को संचालित करता है। दायां हिस्सा भावनाओं और इमेज प्रोसेसिंग पर निर्भर करता है। लेकिन स्टडी में पाया गया कि 100 में से केवल 20 लोग लेफ्ट हैंडेड होते हैं।
— लेफ्ट हैंडेड बच्चों के पेरेंट्स को उनकी परवरिश को लेकर थोड़ा सतर्क रहना चाहिए। उनकी आदत इस आदत को लेकर किसी तरह के अंधविश्वास भी नहीं पड़ना चाहिए। जैसे कुछ लोग लेफ्टी बच्चों को ज्यादा होनहार बताते हैं, ऐसे में बच्चों से ज्यादा अपेक्षा नहीं करना चाहिए। अभी तक इस तरह के बिंदुओं का समर्थन करने के लिए आए ज्यादातर शोध डिसएप्रूव हुए हैं। फलस्वरूप हमें इन बच्चों को अन्य बच्चों के समान ही मानना चाहिए।
— आपका बच्चा लेफ्टहैंडेड है। तो आपको उसकी स्कूलिंग के दौरान मददगार होना चाहिए। सिटिंग अरेंजमेंट को याद करना। क्योंकि अन्य बच्चों के साथ लिखने में हाथ टकराने के कारण बैठ कर लिखने में असहज महसूस करते हैं। टीचर को सही तरीके से बिठाने की व्यवस्था करनी चाहिए। छोटे बच्चे को लेफ्ट हैंड से लिखने को लेकर कोई मजाक न बनाएं। ताकि बच्चों में तनाव की स्थिति न बने।